जब पूरा देश होली के रंग में सरोबार हो रहा है तभी इस देश के एक कोने में बैठा एक भूखा प्यासा व्यक्ति अनशन कर रहा है अपने क्षेत्र की कुछ मांगों के लिए अड़ा है।
![sonam wangchuk anshan hunger strike sonam wangchuk anshan hunger strike](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEgiHJPTHsF_t0EPDlZwLzz1hnpoMfI9Ue5v0XXtRyyqjZGnuY24_N82fG_J1wcy2Qf2YPf19j5MNTJbkvNWB51IxO9vE7DdTeFtfhoc96h8KqkTTDYjeOBvNDIW3bwZhQ0JPgFTE_XTl4hy466qdxcVIL_ygvn3CNT3wSmcDCbzgCuzrgLdUd65PB55G9a5/w640-h356-rw/sonam%20wangchuk%20anshan%20hunger%20strike.jpg)
जब सोशल मीडिया में टिकटोकर और फूहड़ एक्टिंग की भरमार है और बाढ़ सी आ गई है तब एक पढ़ा लिखा इंजीनियर Sonam Wangchuk Protest एक उम्मीद सजाए बैठा है कि उसकी आवाज सरकार तक पहुंचेगी आइए जानते हैं कि कौन हैं सोनम और क्या मांगें हैं उनकी इसके साथ ही उनके कुछ तथ्यों पर भी प्रकाश डालेंगे।
कौन हैं सोनम वांगचुक
आप सभी ने फिल्म 3 इडियट जरूर देखी होगी इस चलचित्र में मुख्य भूमिका का किरदार "रैंचो" आमिर खान ने निभाया है वही रैंचो असल जिंदगी में सोनम हैं यह फिल्म किरदार असल जिंदगी में इन्हीं से प्रेरित है। एनआईटी श्री नगर से प्रद्योगिकी से पढ़ाई करने के बाद उन्होंने अपना जीवन लद्दाख के लिए समर्पित कर दिया, थ्री इडियट के किरदार फुनसुख वांगुडू वास्तविक जीवन में भी जीनियस हैं उन्हें रमन मैग्सेसे पुरस्कार सहित तमाम अवार्ड मिल चुके हैं। सोनम को इंजीनियर, पर्यावरणविद और शिक्षा के सुधार क्षेत्र में काम करने के लिए जाना जाता है उनके कई अविष्कार को जन्म दिया जिसकी वजह से पूरे विश्व मे वह विख्यात हुए।
क्यों अनशन पर बैठे हैं सोनम वांगचुक, क्या हैं उनकी डिमांड्स : Sonam Wangchuk Hunger Strike Demands
पिछले 20 दिन यानी 6 मार्च से सोनम लगातार भूख हड़ताल पर हैं उनके साथ लगभग 3 से 4 हजार लोग उनके समर्थन में बैठे हैं उन्होंने कहा था कि जब तक केंद्र सरकार उनकी मांगों को पूर्ण नहीं करती है तब तक वह 21-21 दिनों के स्लॉट में भूख हड़ताल आमरण तक जारी रखेंगे फिलहाल खबर लिखने तक सरकार की तरफ से कोई भी जवाब नही आया है आइए कुछ बिंदुओं से समझेंगे कि सरकार से उनकी क्या मांग है।
- केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख को संविधान की 6वीं अनुसूची के अंतर्गत राज्य का दर्जा प्राप्त हो।
- 6वीं अनुसूची के तहत जनजातीय वक्तियों के अधिकारों की रक्षा के कानून की व्यवस्था है।
![6th Schedule of constitution संविधान अनुसूची 6th Schedule of constitution संविधान अनुसूची](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhtIUqZSKYAXb4KcaOao6LSRVEfrTAAjBG-lZ1xudEyqbA9I2LtVn0D5rkdmHql4gzp-S1fyEEfr6fEEdNrUii-0BnvH7Oyt-JadvMO4osqOgETuCNcNdlPCtjk1qMkI5xSIfA3gRwCxuJ7822YJvK1LGcAoVvfBM5PPXV-QY9-P27jpNcl5m0tWbakv6d1/w640-h356-rw/6th%20Schedule%20of%20constitution%20%E0%A4%B8%E0%A4%82%E0%A4%B5%E0%A4%BF%E0%A4%A7%E0%A4%BE%E0%A4%A8%20%E0%A4%85%E0%A4%A8%E0%A5%81%E0%A4%B8%E0%A5%82%E0%A4%9A%E0%A5%80.jpg)
- वर्तमान में इस सूची में मेघालय, त्रिपुरा, असम, मिजोरम के क्षेत्र सम्मिलित हैं।
- सोनम चाहते हैं कि लद्दाख में 2 लोकसभा सीटें पारित हों और उनमें इलेक्शन कराए जाए और एक सीट राज्यसभा के लिए चुनी जाए।
- सोशल एक्टिविस्ट वांगचुक ने कहा कि एनवायरमेंट के हिसाब से कुछ क्षेत्र बेहद सेंसटिव है और कुछ स्थानीय जनजातियों के हितों को बचाने के लिए संविधानिक कानून का बनना जरूरी है।
- हालांकि केंद्र सरकार ने पहले ही लद्दाख को स्पेशल स्टेट 371 के तहत देने की पेशकश की थी।
सोनम वांगचुक के कुछ अविष्कार
1 सितम्बर 1966 को जन्मे Sonam Wangchuk सुर्खियों में फिल्म 3 इडियट के समय से ज्यादा आए लेकिन मुख्य रूप से चीन से आए समान को पूर्ण रूप से बहिष्कार के लिए सबसे पहले सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में भी सामने आ चुके हैं आइए जानते हैं उनके कुछ अविष्कार
END OF DAY 20 OF #CLIMATEFAST
— Sonam Wangchuk (@Wangchuk66) March 25, 2024
Still feeling bit down & drained...
Today some 2500 people joined me for day long fast and some 300 are sleeping outdoors ...
Here I Remind Amit Shah ji & Modi ji of the values they are supposed to represent...#SaveLadakh #SaveHimalayas… pic.twitter.com/OzTCywAUYe
Solar Heated Military Tent
सोनम ने इस अविष्कार को भारतीय सेना के लिए बनाया है जब बर्फीली जगहों में भारतीय सेना कैंप में रहती है तो उसे टेंट में रहना पड़ता है ऐसे में यह टेंट वास्तविक टेंपरेचर से लगभग 30 डिग्री सेल्सियस तक ज्यादा गरम रहता है उदाहरण के तौर पर अगर बाहर का मौसम का टेंपरेचर (-15) है तो ऐसे में टेंट के अंदर (+15) का तापमान मेंटेन रहेगा, यह पूरी तरह इको फ्रेंडली और मेड इन भारत है और इसका वजन 30kg है।
Artificial Glacier
इसका नाम बर्फ का स्तूप है गर्मी के मौसम में लद्दाख में सूखे की समस्या होती है उसी को दूर करने यानी कि सिंचाई के लिए होता है, मजेदार बात यह है कि इसके लिए किसी तरह की मशीनरी या बिजली की जरूरत नहीं पड़ती है।
SECMOL परिसर का डिजाइन
Students Educational And Cultural Movement Of Ladakh नाम की संस्था का निर्माण सोनम द्वारा किया गया है इस संस्था के परिसर की खास बात यह है कि यहां पर किसी भी प्रकार की बिजली या ईंधन का इस्तेमाल नहीं किया जाता है खाना पकाने से लेकर बिजली तक सब कुछ सूर्य की ऊर्जा द्वारा चलित है।
- Anuj Rawat Cricketer : कौन है अनुज रावत जो बैटिंग में सहवाग और विकेटकीपिंग में धोनी को फॉलो करते हैं
- V.D. Savarkar : विनायक सावरकर की जिन्दगी से जुड़े ऐसे तथ्य जो आपको हैरानी में डाल देंगे
हमारा देश लोकतांत्रिक है और अनशन या आंदोलन हर नागरिक का जन्म सिद्ध अधिकार है और सरकार के सामने अपनी बात रखने का सबसे सुंदर तरीका भी है और सोनम वही कर रहे हैं।